भारत अनेक संस्कृतियाँ वाला देश है। यहां अलग-अलग धर्म के लोग एक साथ रहते हैं। यहां रहने वाले लोग हर त्योहार को धूम धाम से मनाते हैं। हाल ही में कश्मीर से आई इस खबर ने सबका दिल छू लिया। ये खबर कश्मीर में रहने वाले मुहम्मद उमर की है, जो पेशे से एक कुम्हार है। जैसे कि हम सब जानते हैं कि दिवाली का त्यौहार आ रहा है, जिसे रोशनी के त्यौहार के नाम से भी जाना जाता है। हर जगह बस रोशनी ही रोशनी होगी। इतना ही इस त्योहार में मिट्टी के दीयों का इस्तेमाल भी काफी होता है।
आपको बता दें कि मुहम्मद उमर, जो श्रीनगर के बाहरी इलाके निशात का निवासी है, अपनी समय सीमा को पूरा करने के लिए चौबीसों घंटे काम कर रहा है। एक energetic entrepreneur के रुप में उमर घाटी में मिट्टी के बर्तन बनाने की कला को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहा है। एक इंटरव्यू में उमर ने कहा कि "ईद के दौरान, वे (हिंदू) हमारे लिए उत्पाद बनाते हैं और उन्हें रोजगार मिलता है। इसी तरह, दिवाली के दौरान, हम उनके लिए उत्पाद बनाते हैं और रोजगार पाते हैं।"